एम4पीन्यूज,चंडीगढ़|
पंजाब यूनिवर्सिटी में पिछले कई दिनों से जारी छात्रों का प्रदर्शन मंगलवार को कुछ ऐसे बवाल में तब्दील हो गया। यहां पानी की बौछार दिखी और आंसू गैस के गोले छूटे और पत्थरबाज़ी होती नज़र आई। पीयू में हुई इस हिंसक झड़प के बाद सियासी गलियारों में भी ये मुद्दा गर्माया हुआ है। इस पूरे मामले पर कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने भी सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने ट्वीट कर कई सवाल उठाए।
राहुल गांधी ने पीयू प्रशासन और सरकार को आड़े हाथ लेते हुए अपने ट्वीट में लिखा कि फीस बढ़ोतरी के खिलाफ प्रदर्शन करना भी अब देशद्रोह है? क्या युवाओं को इस देश में बोलने का हक नहीं। मिली जानकारी के अनुसार राजनीतिक पार्टियों के नेता छात्रों के समर्थन में पीयू का रुख कर रहे हैं। फीस बढ़ोतरी को लेकर वो यहां छात्रों से मिलने आ रहे हैं।
दरअसल मंगलवार को फीस बढ़ोतरी से खफा छात्र इस बार आर-पार के इरादे से वीसी दफ्तर की ओर बढ़ रहे थे। लेकिन सामने पुलिस का कड़ा पहरा था। बावजूद इसके वो आगे बढ़ते रहे और जब रोकने की कोशिश हुई तो ये पूरा मामला हिंसक हो उठा। एनएसयूआई और सोई समेत कुल 8 छात्र संगठनों के बैनर तले प्रदर्शन कर रहे छात्रों का दावा है कि वीसी ने उन्हें बातचीत के लिए बुलाया था। लेकिन जब मंगलवार को ये मुलाकात नहीं हो सकी तो गुस्साए छात्र सीधे वहां तैनात पुलिसकर्मियों से ही जा भिड़े।
यूनिवर्सिटी कैंपस में बरपे बवाल के बाद भी फीस बढ़ोतरी पर सवाल कायम है क्योंकि खुद वीसी इस मामले में अपने हाथ ये कहते हुए खड़े कर चुके हैं कि वो छात्रों को झूठा दिलासा नहीं देना चाहते। लेकिन छात्रों के तीखे होते तेवर और विरोध के बदलते तरीके के बाद शायद यूनिवर्सिटी प्रशासन कुछ और विकल्पों पर विचार करना पड़े।